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Holi 2023 : होलिका दहन को लेकर ख़त्म हुआ कन्फ्यूजन शास्त्री जी ने बताया समाधान

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Holi 2023 :  इस बार होलिका दहन को लेकर उपापोह की स्तिथि बनी हुई हैं काफी लोग इंटरनेट पर होलिका दहन को लेकर क्या सही तारिख होगी इसे सर्च कर रहे हैं लेकिन आज आपको हम देश के सुप्रसिद्ध ज्योतिषाचार्य डॉ, बी,सी,शास्त्री के होलिका दहन को लेकर दिए गए सुझाव से अवगत करवाएँगे जिसे पढ़कर आप निर्णय कर पाएगे की होली कब जलानी है. होलिका दहन इस बार 07 मार्च को किया जाएगा।  होलिका दहन छोटी होली के नाम से भी जाना जाता है। होलिका दहन के दिन महिलाएं घर में सुख शांति के लिए पूजा करती हैं। होलिका दहन का यह दिन बुराई पर अच्छाई का प्रतीक माना जाता है।

खुशियों और रंगों भरा त्योहार होली आने है।

 इस साल होलिका दहन 7 मार्च को है। उसके अगले दिन 8 मार्च को रंग वाली होली खेली जाएगी। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार कहा जाता है कि होलिका दहन पूर्णिमा के दिन प्रदोष काल में की जाए तो सबसे शुभ होता है। इस दौरान भद्रा मुख को त्याग करके रात के समय होलिका दहन करना शुभ होता है। 

होलिका दहन का शुभ मुहूर्त

इस बार होलिका दहन 07 मार्च को होगा और 8 मार्च को होली खेली जाएगी। पूर्णिमा तिथि की शुरुआत 06 मार्च को शाम 04 बजकर 17 मिनट पर होगी और इसका समापन 07 मार्च को शाम 06 बजकर 09 मिनट पर होगी। होलिका दहन का शुभ मुहूर्त 07 मार्च, मंगलवार को शाम 06 बजकर 24 मिनट से रात 08 बजकर 51 मिनट तक रहेगा। भद्रा काल का समय 06 मार्च को शाम 04 बजकर 48 मिनट पर शुरू होगा और 07 मार्च को सुबह 05 बजकर 14 मिनट पर समाप्त होगा।

होलिका दहन की पूजन विधि

होलिका दहन के दिन होली पूजा के बाद जल अर्पित करें। इसके बाद शुभ मुहूर्त के अनुसार अपने घर के किसी बड़े बुजुर्ग व्यक्ति से होलिका की अग्नि प्रज्वलित करवाएं। होलिका की अग्नि में फसल सेंके और मुमकिन हो तो इसे अगले दिन सपरिवार ग्रहण अवश्य करें। कहा जाता है होलिका दहन के दिन किया जाने वाला यह उपाय जो कोई भी व्यक्ति करता है उसके जीवन में निराशा और दुख का साया नहीं आता है। साथ ही उस व्यक्ति के परिवार के सभी लोग हमेशा रोगों से मुक्त स्वस्थ और खुशहाल जीवन जीते हैं।

दो दिन होलिका दहन का क्या है कारण?

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, इस साल 2023 होलिका दहन दो दिन किए जाने का कारण भद्रा को बताया जा रहा है, जिसके कारण देश के अधिकांश हिस्सों में 06 मार्च और पूर्वी राज्यों में 07 मार्च को होलिका दहन किया जाएगा। धर्मसिंधु और अन्य शास्त्रों के अनुसार, फाल्गुन शुक्ल की प्रदोष व्यापिनी पूर्णिमा को होलिका दहन किए जाने का विधान है। इस बार फाल्गुन पूर्णिमा 06 मार्च को दोपहर 04:18 से शुरू होगी जिसका समापन 07 मार्च शाम 06:18 पर होगा। ऐसे में प्रदोष व्यापिनी पूर्णिमा 06 मार्च को रहेगी। वहीं पूर्वी राज्यों में दो दिन प्रदोष व्यापिनी पूर्णिमा रहेगी।

आपके शहर में किस दिन होगा होलिका दहन?

ज्योतिष के अनुसार, भारत के पूर्वी राज्य और नगर में जहां, 7 मार्च को सूर्यास्त 6:10 से पहले हो जाएगा, वहां पूर्णिमा दो दिन प्रदोष व्यापिनी रहेगी। ऐसे में इन जगहों पर होलिका दहन 7 मार्च को किया जाएगा।* क्योंकि 06 मार्च को यहां पूर्णिमा भद्रा से दूषित रहेगी।वहीं भारत के पूर्वी राज्यों जैसे उत्तर प्रदेश, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, झारखंड, बिहार, पश्चिम बंगाल, असम आदि जैसे राज्यों में 7 मार्च को होलिका दहन होगा। यानी जिन जगहों पर सूर्यास्त 6:10 से पहले होगा, वहां 07 मार्च को होलिका दहन प्रदोषकाल में किया जाएगा।

 

Article By : डॉ बी सी शास्त्री ज्योतिषाचार्य श्री विद्या ज्योतिष संस्थान कार्यालय ग्रेटर नोएडा

Sanjay Vishwakarma

संजय विश्वकर्मा (Sanjay Vishwakarma) 41 वर्ष के हैं। वर्तमान में देश के जाने माने मीडिया संस्थान में सेवा दे रहे हैं। उनसे servicesinsight@gmail.com पर संपर्क किया जा सकता है। वह वाइल्ड लाइफ,बिजनेस और पॉलिटिकल में लम्बे दशकों का अनुभव रखते हैं। वह उमरिया, मध्यप्रदेश के रहने वाले हैं। उन्होंने Dr. C.V. Raman University जर्नलिज्म और मास कम्यूनिकेशन में BJMC की डिग्री ली है।

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