Viral Vedio Umaria : इन दिनों सोशल मीडिया का भूत सर पर चढ़कर बोल रहा है। कई ऐसे वीडियो सोशल मीडिया में वायरल होते हैं जिसमें रील बनाने के चक्कर में हर उम्र के लोग अपनी जान तक गवा देते हैं। सुबह उठने से लेकर हर गतिविधियों को लोग वीडियो बनाकर रील के माध्यम से सोशल मीडिया में शेयर करना चाहते हैं। कुछ नया और कुछ यूनिक करने की जुगत में कभी-कभी कुछ ऐसा काम भी कर जाते हैं जिससे जान पर बनती है या फिर जाने अनजाने में अपराध कर बैठते हैं।
उमरिया जिले में सोशल मीडिया में एक वीडियो बड़ी तेजी से वायरल हो रहा है जिसमें कक्षा के अंदर तीन से चार छात्र मौजूद हैं और छात्रों के द्वारा बेंच डेस्क के साथ में तोड़फोड़ की जा रही है और इसका वीडियो बनाकर के सोशल मीडिया में वायरल किया गया है। नाम ना बताने की शर्त पर स्थानीय लोगों के द्वारा बताया गया है कि उक्त वीडियो ग्राम कौड़िया की हायर सेकेंडरी स्कूल का है। हालांकि मामले की जांच के बाद ही वायरल वीडियो की सत्यता की पुष्टि हो पाएगी।
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लेकिन जिस वीडियो को सोशल मीडिया में शेयर किया गया है यह वीडियो अंकित नाम की युवा के द्वारा अपने अकाउंट से शेयर किया गया है। इस अकाउंट में ग्राम कौड़िया से जुड़े हुए कई ऐसे वीडियो है जिनके माध्यम से समझा जा सकता है, की शेयर करने वाला युवक ग्राम कोरिया के आसपास या फिर ग्राम कौड़िया का है। सरकारी संपत्ति के साथ खिलवाड़ करना और क्षति पहुंचाना निश्चित रूप से एक अपराध है। लेकिन वीडियो देखने के बाद में यह बात भी समझ में आती है कि विद्यालय प्रबंधन कितना लचर है। विद्यालय के प्राचार्य का कमांड विद्यालय में शायद नहीं है। यही कारण है कि विद्यालय के छात्रों के द्वारा इतना बड़ा दुस्साहस करके बाकायदा वीडियो बनाकर सोशल मीडिया में शेयर भी किया जा रहा है।
रील बनने का भूत : क्लास की बेंच-डेस्क में तोड़फोड़ कर बनाई वीडियो उमरिया जिले के इस गाँव का बताया जा रहा है वीडियो#umaria #viralvideo pic.twitter.com/FZmcUsdkLe
— Khabarilal (खबरीलाल) (@khabarilalg) February 2, 2025
हायर सेकंडरी विद्यालय के प्राचार्य एन के कचेर से जब बातचीत करनी चाही गई तो उन्होंने कहा की यह वीडियो उनके विद्यालय का नहीं है.
उक्त मामले में जब ब्लॉक शिक्षा अधिकारी जगत राम मिथिलेश से बात की गई तो उनका कहना है कि मैं इस बारे में पता करवाता हूं। हायर सेकंडरी विद्यालय जिला शिक्षा अधिकारी के अधीन रहते हैं कार्यवाही उनके द्वारा ही की जाएगी।
उक्त मामले में जब जिला शिक्षा अधिकारी आईएस मरावी से बात की गई तो उन्होंने कहा किमैं प्रिंसिपल से पूछ लेता हूं। बिना कारण जाने क्या कार्रवाई की जाएगी मैं कैसे बता सकता हूं।
उक्त वायरल वीडियो की जांच शिक्षा विभाग के द्वारा करवाई जाए या नहीं करवाई जाए यह तो जिले के अधिकारियों पर ही निर्भर करता है लेकिन सरकारी संपत्ति के साथ में इस तरह का खिलवाड़ करना निश्चित रूप से यह एक अपराध की श्रेणी में आता है.ऐसे छात्रों को अगर इस प्राइमरी स्टेज में नहीं रोका गया तो आने वाले समय में वें इससे भी बड़ा अपराध करने में खुद को असहज महसूस नहीं करेंगे.