मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना को लेकर इन दिनों उमरिया जिले के मानपुर में शासन और प्रशासन के निर्देशों की जम उड़ाई जा रही हैं धज्जियां। जी हां आपको यदि मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना के लिए बैंक खाते की ईकेवायसी करवानी है तो 30 रुपये एसबीआई कियोस्क संचालक को देने ही होंगे और यदि एमपी ऑनलाइन सर्विस सेंटर से समग्र आईडी की केवायसी करवानी है तो 20 रुपये देने होंगे, इतना ही नही बैंक खाते की ईकेवायसी फार्म भी एमपी ऑनलाइन की दुकानों से 5 रुपये में लेने होंगे।
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नाम न छापने की शर्त पर एक हितग्राही ने बताया कि आपको दूर जाने की जरूरत नही पड़ेगी सब कुछ एसबीआई मेन ब्रांच के सामने ही हो रहा है। एसबीआई मेन ब्रांच के खाताधारकों को भी कियोस्क संचालक के पास भेजा जा रहा है। इन सबको देखते हुए ऐसा लगता है कि एसबीआई मेन ब्रांच के अधिकारी कर्मचारी सांठ गांठ करके आम जनता की जेब ढीली कर रहे हैं साथ ही अपनी कमाई करने में जुटे हैं। इसकी जांच करने के लिए किसी साक्ष्य की जरूरत नही है, कियोस्क संचालक के सीसीटीवी कैमरे के फुटेज में देखा जा सकता है और ऑनलाइन की दुकानों में फार्म भी मिल जाएगा।
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गौरतलब है कि एक तरफ प्रदेश के मुखिया अपनी हर सभाओं में जोर शोर से आम जनता को संबोधित करते हुए बतलाते हैं की लाडली बहना योजना के लिए ईकेवाईसी एक दम निशुल्क रूप से किया जा रहा है इतना ही नहीं समग्र आईडी और आधार लिंक करने का कार्य भी पंचायत व नगर पंचायतों नगर निगम व नगर पालिकाओं के द्वारा निशुल्क रूप से किया जाता है वहीं हर जिलों के अधिकारियों को भी निर्देशित किया गया है कि कहीं भी पैसा लेने का मामला सामने आए तो तत्काल उनके लाइसेंस निरस्त किए जाएं उसी कड़ी में जिले के कलेक्टर द्वारा भी सभी कियोस्क संचालकों एवं ऑनलाइन की दुकानों को निर्देशित किया गया है कि किसी भी हितग्राही से किसी तरह का शुल्क नहीं लिया जाए सभी को निशुल्क सुविधा प्रदान की जाए.
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मगर उसके बाद भी मानपुर में खुलेआम हितग्राहियों के पैसे लूटे जा रहे हैं यहां तक कि मानपुर स्टेट बैंक की मुख्य शाखा से भी खाताधारकों को क्यों स्थित संचालक और एमपी ऑनलाइन सेंटर में भेजा जा रहा है आम जनता जिले के कलेक्टर महोदय से अपेक्षा कर रही है कि इस लूट को तत्काल रुकवाया जाए और इनकी उसका संचालकों और एमपी ऑनलाइन सेंटर वालों के ऊपर सख्त कार्रवाई की जाए ताकि मुख्यमंत्री की योजना सही ढंग से फलीभूत हो सके।
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