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चमत्कारी रुद्राक्ष पाने के लिए 02 महिलाओं सहित एक 3 वर्ष के बच्चे की मौत,73 हुए घायल,जानिए आखिर क्या हैं इस रुद्राक्ष में

इन दिनों मध्य प्रदेश के सीहोर का कुबेरेश्वर धाम और सुप्रसिद्धकथा वाचक पंडित प्रदीप मिश्रा लगातार मीडिया की सुर्खियों बने हुए हैं. पूरे देश के कोने कोने से सीहोर में आयोजित रुद्राक्ष महोत्सव में शामिल होकर रुद्राक्ष लेने के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ रही है. सीहोर में 52 एकड़ में बने कुबेरेश्वर धाम में पैर रखने की जगह नहीं बची है। सीहोर भोपाल इंदौर हाईवे पूरी तरह से खुला लोग अभी भी परेशान हो रहे हैं रुद्राक्ष के लिए रुद्राक्ष काटने पर पूरी तरह से रोक लगी नजदीकी ग्राम चितावलियां हेमा में भागवत भूषण पंडित प्रदीप मिश्रा के कुबेरेश्वर धाम आज रुद्राक्ष वितरण महोत्सव और शिव पुराण कथा का दूसरा दिन है आज यहां लगभग डेढ़ लाख श्रद्धालु जुटे हैं बताया गया है कि कल लगभग 10 लाख से अधिक लोग आ गए थे इसके बाद रुद्राक्ष वितरण स्थल पर बैरिकेड आदि टूट जाने के कारण रुद्राक्ष वितरण रोक दिया गया है और शिव पुराण कथा सभी श्रद्धालु सुन रहे हैं।

सीहोर के कुबेरेश्वर धाम में रुद्राक्ष महोत्सव की शुरुआत 16 फरवरी 2023 से हुई हैं वही  16 से 23 तारीख तक यहाँ कथा का भी आयोजन किया जा रहा है। महोत्सव में भक्तजनों को 24 लाख से ज्यादा रुद्राक्ष बाँटे जाने का लक्ष्य रखा गया है। लेकिन गुरुवार यानि 16 फरवरी 2023 दोपहर तक ही करीब 10 लाख लोग पहुच गए थे, साथ ही बताया जा रहा हैं की  करीब दो लाख लोग तो 15 फरवरी को ही पहुँच गए थे। इसे देखते हुए रुद्राक्ष बाँटने की शुरुआत एक दिन पहले ही कर दी गई थी। कुबेरेश्वर धाम की तरफ से रुद्राक्ष बाँटने के लिए 30 काउंटर बनाए गए हैं। श्रद्धालुओं के ठहरने के लिए 18-18 हजार वर्गफीट के 5 डोम भी बनाए गए हैं।

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जानकारी के अनुसार गुरुवार को भारी भीड़ आ जाने के कारण भोपाल इंदौर रोड पर लगभग 27 किलोमीटर लंबा जाम लग गया था लेकिन आज दूसरे दिन यातायात व्यवस्था पूरी तरह बाहर हो गई है क्योंकि परुद्राक्ष वितरण बंद हो जाने के कारण रुद्राक्ष लेने की आस में सीहोर आए लोग अब वापस जाने लगे हैं इस समय कुबेरेश्वर धाम में लगभग डेढ़ लाख लोग मौजूद है। अधिकांश लोग यहां महाशिवरात्रि के अवसर पर पूजा अर्चना करने तथा धाम के दर्शन करने के लिए रुके हुए हैं प्रतिदिन होने वाली शिव पुराण कथा सुनने के लिए भी श्रद्धालु यहां उपस्थित है।

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उल्लेखनीय है कि कुबेरेश्वर धाम से रुद्राक्ष लेने के लिए देश के कोने कोने से लाखों की संख्या में श्रद्धालु सीहोर आए थे जिन्हें बुधवार और गुरुवार को रुद्राक्ष मिला लेकिन भीड़ अधिक हो जाने के कारण रुद्राक्ष वितरण अभी रोक दिया गया है बताया गया है कि यहां से मिलने वाले रुद्राक्ष के प्रति लोगों में गहरी आस्था है लोगों का ऐसा मानना है कि स्वास्थ्य लाभ के लिए रुद्राक्ष काफी उपयोगी है और धार्मिक दृष्टि से भी उसका काफी महत्व है।

चमत्कारी रुद्राक्ष के लिए भीड़

दावा किया जा रहा है कि रुद्राक्ष वितरण महोत्सव में मिलने वाले रुद्राक्ष को पानी में डालने के बाद उस पानी को पीने से हर समस्या दूर हो जाती है। भले ही नक्षत्र खराब हो या बीमारी हो या किसी तरह की कोई बाधाएँ हो सब संकट का निवारण रुद्राक्ष के पानी को पीने से हो जाता है. यही कारण है कि इस रुद्राक्ष लेने के लिए देश भर से लाखों लोगों की भीड़ जुटी है।

पंडित प्रदीप मिश्रा के अनुसार, कुबेरेश्वर धाम में जो रुद्राक्ष आता है, वह गंडकी नदी का होता है। भोपाल और इंदौर के विज्ञान विभाग ने रुद्राक्ष की विधवत जाँच की है। जाँच रिपोर्ट में पता चला है कि रुद्राक्ष के अंदर गंडकी नदी का पानी है। अगर इस रुद्राक्ष को पानी में डालकर रखें और फिर इस पानी को पी लिया जाए, जो कई सारे रोग खत्म हो जाते हैं।

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Sanjay Vishwakarma

संजय विश्वकर्मा (Sanjay Vishwakarma) 41 वर्ष के हैं। वर्तमान में देश के जाने माने मीडिया संस्थान में सेवा दे रहे हैं। उनसे servicesinsight@gmail.com पर संपर्क किया जा सकता है। वह वाइल्ड लाइफ,बिजनेस और पॉलिटिकल में लम्बे दशकों का अनुभव रखते हैं। वह उमरिया, मध्यप्रदेश के रहने वाले हैं। उन्होंने Dr. C.V. Raman University जर्नलिज्म और मास कम्यूनिकेशन में BJMC की डिग्री ली है।

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