कटनी जिले के बरही थाना क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले ग्राम पथरहटा में एक मां ने अपनी दो वर्षीय दूधमुही बच्ची को पहले फंदा लगाकर टांग दिया, उसके बाद खुद भी फंदे पर झूल गई। मासूम बेटी और मां की इस तरह मौत होने के कारण पूरे क्षेत्र में खलबली मच गई है। मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने शव को कब्जे में लेते हुए अग्रिम कार्यवाही शुरू कर दी है।
बरही थाना प्रभारी शैलेंद्र यादव ने बताया कि बरही थाना क्षेत्र ग्राम पथरहटा निवासी संजय कोल की 25 वर्षीय पत्नी सुमित्रा कुछ दिन पहले ही अपने मायके से ससुराल आई थी। उसके मायके में भैंस ने बच्चा दिया जिसके कारण अन्य बहने तेली खाने पहुंची थी, और सुमित्रा को भी मायके आने के लिए कह रही थी। कुछ दिन पहले ही ससुराल वापस आई सुमित्रा ने जब फिर से मायके जाने के लिए पति और ससुराल वालों से कहा तो ससुराल वालों ने उसकी बात नहीं सुनी और मायके जाने से इनकार कर दिया।
ससुराल के सभी लोग ईंट बनाने चले गए, नंद दोपहर में दसवीं का पेपर देने चली गई। पुलिस के मुताबिक मासूम बेटी के साथ घर में अकेली मौजूद सुमित्रा ने 7 मार्च की दोपहर लगभग 2 से 4 बजे के बीच साड़ी के एक छोर से पहले अपनी मासूम दो वर्षीय बेटी के गले में फंदा लगाया और उसके बाद दूसरे छोर पर खुद के गले में फंदा लगाकर झूल गई।
पेपर खत्म होने के बाद मृतिका की नंद जब घर वापस लौटी तो फंदे पर भाभी और भतीजी को लटकता देख वह स्तब्ध रह गई। आनन फानन में उसने स्थानीय लोगों और परिवार वालों तक इसकी जानकारी पहुंचाई, जिसके बाद पूरे गांव में चीख पुकार मच गई। घटना की जानकारी लगते ही पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर कार्यवाही शुरू कर दी है। वही मृतिका के पिता फत्तू कोल ने आरोप लगाते हुए बताया कि उनकी बेटी ने आत्महत्या नहीं की है उसे ससुराल वालों ने गला दबा मारा है।
वही इस घटना के संबंध में बातचीत करते हुए बरही थाना प्रभारी शैलेंद्र सिंह यादव ने कहा कि प्राथमिक जांच में यह स्पष्ट हुआ है कि महिला ने मायके जाने की बात ससुराल वालों से की थी। जिस पर ससुराल वालों ने उसे मायके जाने से मना कर दिया था। जिस समय घटना हुई उस समय घर पर कोई मौजूद नहीं था। मृतिका ने पहले मासूम बेटी को फांसी लगाई और फिर दूसरी तरफ खुद फंदे में लटक कर झूल गई। मामले की गंभीरता को देखते हुए जांच की जा रही है।
कटनी से नीरज तिवारी की रिपोर्ट